गोरखालैंड राज्य के गठन की मांग कर रहा है जीजेएम
दार्जिलिंग| उत्तर पश्चिम बंगाल की पहाड़ियों में अलग गोरखालैंड राज्य के गठन के बारे में केंद्र सरकार से बातचीत शुरू करने का आग्रह करते हुए जीजेएम नेतृत्व के एक हिस्से ने सोमवार को अपना आंदोलन तेज करने की कसम खाई और कहा कि प्राण जाने तक वे उपवास करेंगे और ‘आत्मबलिदान’ से भी नहीं हिचकेंगे।
गोरखा जनमुक्ति मोर्चा (जीजेवाईएम) के अध्यक्ष प्रकाश गुरुं ग ने कहा, “केंद्र सरकार को गोरखालैंड राज्य के निर्माण के बारे में संवाद शुरू करना चाहिए।” उन्होंने कहा, “हम अब तक से आत्मबलिदान और उपवास के मार्ग से गोरखालैंड के लिए हमारे आंदोलन को और तेज करेंगे।”
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गुरुं ग ने यहां कहा कि केंद्र और राज्य सरकारों ने सिंगमरी इलाके में सुरक्षा बलों के साथ संघर्ष में तीन जीजेएम कार्यकर्ताओं की मौत पर मौन साध ली है। गुरुंग ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा स्थिति से निपटने में नाकामी के खिलाफ सांकेतिक विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।
उन्होंने कहा, “हमारे तीन भाई आंदोलन में शहीद हुए, लेकिन राज्य सरकार और केंद्र सरकार इस बारे में चुप है। हमारे आंदोलन का एक ही मुद्दा और एजेंडा- गोरखालैंड है।”
इस बीच, पश्चिम बंगाल पुलिस के सुरक्षा कर्मियों और वरिष्ठ अधिकारियों ने दार्जिलिंग में कानून और व्यवस्था की स्थिति का निरीक्षण किया। आईपीएस अधिकारी सिद्धिनाथ गुप्ता के नेतृत्व में एक पुलिस काफिला ने कानून-व्यवस्था का निरीक्षण किया।
गोरखालैंड में जीजेएम का आंदोलन पिछले 12 दिनों से जारी है। राज्य में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस का अरोप है कि इस आंदोलन की आग भाजपा ने सुलगाई है।