नई दिल्ली। आंध्र प्रदेश की राजधानी हैदराबाद में 10वीं क्लास में पढ़ने वाली 16 वर्षीया छात्रा की शादी 38 साल के दिव्यांग युवक से करने की तैयारियां अभी चल ही रहीं थीं कि पुलिस ने ऐन वक्त पर मंदिर पहुंचकर इस शादी को रुकवा दिया। बताया जा रहा है कि बच्ची के माता-पिता जिस घर में रहते थे उसका उन्होंने कई महीनों से किराया नहीं दिया था।
इसी बात का फायदा उठाकर घर के मकान मालिक अपने दिव्यांग बेटे की शादी दसवीं में पढ़ने वाली उसकी बेटी के साथ करवाना चाहते थे। मंदिर में शादी की सभी तैयारियां पूरी भी कर ली गईं थीं लेकिन इस बीच किसी ने पुलिस को फोन कर दिया। मौके पर पहुंची पुलिस ने शादी को रुकवाकर दिव्यांग व्यक्ति रमेश गुप्ता, उसके पिता चेन्नैया तथा मां पल्ली रामचंद्रम्मा के खिलाफ बाल विवाह एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है।
हाल ही में 83% अंकों के साथ 10वीं की परीक्षा पास करने वाली बच्ची का परिवार मूल रूप से ओडिशा के बालासोर का रहने वाला है, लेकिन चार वर्ष पहले हैदराबाद आकर बस गए थे। बच्ची के माता-पिता मज़दूर के तौर पर छोटा-मोटा काम करते थे।
पिछले कुछ समय से बच्ची के परिजन मकान का किराया नहीं जमा कर पा रहे थे। इसके अलावा उन्होंने अपने मकान मालिक से कुछ रु भी उधार ले रखे थे। जिसके बाद उन पर इस बात के लिए दबाव डाला जा रहा था कि वे अपनी बच्ची की शादी रमेश से करवा दें, जो चल-फिर नहीं सकता है। हालांकि ये शादी हो पाती इससे पहले ही पुलिस ने मंदिर पहुंचकर इस शादी को रुकवा दिया।