जोहान्सबर्ग। दक्षिण अफ्रीका में 2.5 अरब के एक दुर्लभ गुलाबी हीरे के लिए जंग छिड़ चुकी है। इंटरपोल ने इस संबंध में भारतीय मूल के चार कारोबारियों को रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया गया है। रूस के एक टेलिकम्युनिकेशन बिजनसमैन और हीरे के स्थानीय डीलर के बीच हीरे के स्वामित्व को लेकर दावे और कानूनी विवाद के बीच यह नोटिस जारी हुआ है।
भारतीय मूल के जुनैद मोती, उनके पिता अब्बास अबू बकर और उनके दो सहयोगियों अशरफ काका और सलीम बोबत ने रेड कॉर्नर नोटिस के खिलाफ प्रिटोरिया हाईकोर्ट का रुख किया। यह त्रिकोणीय कानूनी लड़ाई फ्रांस, लेबनान, जिम्बाब्वे और दुबई की अदालतों में दो सालों से चल रही है।
रेड नोटिस इंटरपोल के जरिये जारी किया जाने वाला इंटरनेशनल अलर्ट है। इसमें वांछित इंसान के प्रत्यर्पण के लिए उसकी लोकेशन और फिर गिरफ्तारी का प्रावधान है। उनके अनुसार रूसी कारोबारी अलीबेक इसाएव ने धोखाधड़ी से हीरे के कागजात हासिल किए हैं। रूसी कारोबारियों और भारतीय मूल के कारोबारियों ने एक-दूसरे पर हीरे को चुराने का आरोप लगाया है।
वहीं अशरफ काका और उनके सहयोगियों पॉल ओ’ सुलिवन ने एक निजी अन्वेषक को नियुक्त किया। अन्वेषक ने पुष्टि की कि उसके ग्राहकों में से कोई भी कभी भी लेबनान नहीं गया था। अदालत से वारंट को स्थगित करने के लिए कहा गया है।